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(क) दर्ज़ी चूहे की किस बात से डर गया?
(ख) चूहा टोपी क्यों पहनना चाहता था?
(ग) चूहा टोपी पर सितारे क्यों लगवाना चाहता था?
(घ) दर्ज़ी ने चूहे की टोपी सिलने से क्यों मना कर दिया?
(क) चूहे ने दर्ज़ी को कहा कि वह रात को अपनी सेना लेकर आएगा और उसके सारे कपड़े कुतर डालेगा। उसकी यह बात सुनकर दर्ज़ी डर गया।
(ख) चूहा स्वयं को अच्छा दिखाने के लिए टोपी पहनना चाहता था।
(ग) चूहे की टोपी सिलने के बाद सादी लग रही थी। वह उसे सुंदर बनाना चाहता था इसलिए उसमें सितारे लगवाना चाहता था।
(घ) दर्ज़ी को लगा होगा कि एक छोटा-सा चूहा क्या कपड़े पहनेगा इसलिए उसने टोपी सिलने से मना कर दिया।
(क) बारिश के मौसम में ऐसा क्या होता है जिससे चूहा अपने बिल में से निकल नहीं पाया होगा?
(ख) क्या तुम्हें भी चूहा नटखट लगा? क्यों?
(ग) कपड़े वाले ने, दर्ज़ी ने, सितारे वाले ने चूहे की बात पर ध्यान नहीं दिया। तुम्हें इसका क्या कारण लगता है?
(क) बरसात के कारण सड़कों पर चारों तरफ़ पानी ही पानी भर गया होगा इसलिए चूहा अपने घर से नहीं निकल पाया होगा।
(ख) ‘हाँ’ चूहा हमें भी नटखट लगा। उसने अपने नटखटपन से राजा, दुकानदार, दर्ज़ी तथा सितारे वाले तक को परेशान कर दिया था।
(ग) कपड़े वाले ने, दर्ज़ी ने तथा सितारे वाले ने चूहे की बात पर ध्यान नहीं दिया क्योंकि वह छोटा सा जीव था। उन्हें लगा होगा कि यह हमारा क्या बिगाड़ लेगा।
(क) चूहा राजा के दरबार में गया।
(ख) दर्ज़ी ने चूहे की टोपी सिल दी।
(ग) चूहा दुकानदार के पास सितारे लेने गया।
(घ) चूहे को रेशमी कपड़े की कतरन मिली।
(ङ) चूहा सिंहासन पर बैठ गया।
(च) चूहा तैयार होकर शहर की तरफ़ निकल पड़ा।
(क)चूहा तैयार होकर शहर की तरफ़ निकल पड़ा।
(ख) चूहे को रेशमी कपड़े की कतरन मिली।
(ग) दर्ज़ी ने चूहे की टोपी सिल दी।
(घ) चूहा दुकानदार के पास सितारे लेने गया।
(ङ) चूहा राजा के दरबार में गया।
(च) चूहा सिंहासन पर बैठ गया।
पिछले साल तुमने अँगूठे की छाप से चिड़िया, अनार, गठरी, कठपुतली बनाई थी। अँगूठे की छाप से अपनी पसंद के कुछ और चित्र बनाओ।
इसे विद्यार्थी स्वयं करके देखें।
चूहा अपने कामों के लिए बहुत से लोगों के पास गया। इन कामों के लिए तुम किसके पास जाओगे?
काम | नाम |
कपड़ा खरीदने | ……………………………………. |
लकड़ी की कुर्सी बनवाने | ……………………………………. |
किताब पर जिल्द चढ़वाने | ……………………………………. |
बाल कटवाने | ……………………………………. |
मोहल्ले की रखवाली करवाने | ……………………………………. |
मिट्टी के दीए और सुराही खरीदने | ……………………………………. |
माँ की घड़ी ठीक करवाने | ……………………………………. |
काम | नाम |
कपड़ा खरीदने | कपड़े बेचने वाले दुकानदार के पास |
लकड़ी की कुर्सी बनवाने | बढ़ई के पास |
किताब पर जिल्द चढ़वाने | पुस्तक विक्रेता के पास |
बाल कटवाने | नाई के पास |
मोहल्ले की रखवाली करवाने | चौकीदार के पास |
मिट्टी के दीए और सुराही खरीदने | कुम्हार के पास |
माँ की घड़ी ठीक करवाने | घड़ीसाज़ के पास |
खाली जगह भरो।
• इस कमरे में दो ………………………….. हैं। (खिड़की)
• बुआ समीना के लिए ढेरों ………………….. लाईं। (कॉपी)
• ………………मैदान में फ़ुटबॉल खेल रही हैं। (लड़की)
• गोविंद तेज़ी से ………………….. चढ़ रहा था। (सीढ़ी)
• गंदी जगह पर ……………….भिनभिनाती रहती हैं। (मक्खी)
• इस कमरे में दो खिड़कियाँ हैं। (खिड़की)
• बुआ समीना के लिए ढेरों कॉपियाँ लाईं। (कॉपी)
• लड़कियाँ मैदान में फ़ुटबॉल खेल रही हैं। (लड़की)
• गोविंद तेज़ी से सीढ़ियाँ चढ़ रहा था। (सीढ़ी)
• गंदी जगह पर मक्खियाँ भिनभिनाती रहती हैं। (मक्खी)
(क) तुम बजाज होते तो चूहे को कपड़ा देते या नहीं? क्यों?
(ख) चूहा राजा बनकर देखना चाहता था। तुम्हारे विचार से राजा दिन भर क्या करते होंगे?
(ग) तुम चूहा बनना पसंद करोगे या राजा? क्यों?
(क) यदि मैं बजाज होता तो चूहे को कपड़ा दे देता क्योंकि कपड़ा नहीं देकर मेरा बहुत नुकसान होता है। थोड़ा-सा कपड़ा देने में मेरा नुकसान नहीं होता।
(ख) राजा दिनभर प्रजा की देखभाल व सुरक्षा संबंधी बातों पर विचार-विमर्श करते होगें। उन पर पूरी प्रजा की देखभाल और सुरक्षा की ज़िम्मेदारी होती होगी। अत: वह इन्हीं सभी कामों में उलझे रहते होगें।
(ग) मैं चूहा बनना पसंद करूँगा। राजा का जीवन बहुत कठिन होता है। उसकी अधिकतर उम्र युद्ध करने में ही बीत जाती है। वह अपने राजमहल तक में सुरक्षित नहीं रहता है। उसके विद्रोही उसे मारने को आतुर रहते हैं। अतः वह कैदी जैसा जीवन जीता है। चूहा एक स्वतंत्र प्राणी होता है। इसलिए मैं चूहा बनाना चाहता हूँ।
दर्ज़ी अपने काम में कैंची, फ़ीते, मशीन, धागे आदि का इस्तेमाल करता है। ये लोग किन चीज़ों की मदद से अपना काम करते हैं-
बढ़ई | …………… | …………… |
रसोइया | …………… | …………… |
डॉक्टर | …………… | …………… |
कुम्हार | …………… | …………… |
चित्रकार | …………… | …………… |
किसान | …………… | …………… |
बढ़ई | आरी | हथौड़ा |
रसोइया | करछी | चिमटा |
डॉक्टर | स्टेथोस्कोप | दवाइयाँ |
कुम्हार | चाक | मिट्टी |
चित्रकार | रंग | ब्रश |
किसान | हल | बैल |
दर्ज़ी शब्द में र की आवाज़ है जिसे ऊपर () निशान लगाकर लिखा जाता है। ऐसे ही कुछ और शब्द लिखो।
…………… | …………… | …………… |
…………… | …………… | …………… |
मर्ज़ी | सर्दी | गर्मी |
घर्र | धर्म | कर्म |
प्रस्तुत कविता ‘नटखट चूहा’ के कवि रमेश तैलंग हैं। इस कविता में बच्चे सूरज से जल्दी निकलने का आग्रह कर रहे हैं। बच्चे कह रहे हैं कि चारों तरफ़ कुहासा (कोहरा) फैला है तथा आर-पार कुछ भी दिखाई नहीं पड़ रहा। क्या ऐसे कोई किसी के घर टिकता है? बच्चे सूरज से सच-सच बताने के लिए कह रहे हैं। कल की बारिश में जो कपड़े भीग गए थे, वे अब तक गीले हैं। दीवार तथा दरवाजे सब-के-सबै सीले हैं। बच्चे सूरज से कह रहे हैं कि बहाना छोड़कर जल्दी आ जाओ।